बिना सिम या नेटवर्क के हो जाएगी कॉल! एलन मस्क ने लॉन्च की डायरेक्ट-टू-सेल तकनीक, ऐसे करेगी काम

इस तकनीक के जरिए यूजर बिना सिम कार्ड के भी कॉलिंग और टेक्स्ट मैसेजिंग सर्विस का इस्तेमाल कर सकेंगे। यह स्टारलिंक सैटेलाइट अन्य इंटरनेट सर्विस प्रोवाइडर्स से बिल्कुल अलग है।
एलन मस्क की स्टारलिंक इंटरनेट सर्विस जल्द ही भारत में लॉन्च होने वाली है। इससे पहले एलन मस्क ने एक नई तरह की डायरेक्ट सेलिंग तकनीक पेश की थी। इस तकनीक के जरिए यूजर का मोबाइल सीधे सैटेलाइट से कनेक्ट रहेगा। इसके लिए यूजर को किसी खास हार्डवेयर या सॉफ्टवेयर की जरूरत नहीं होगी।
इस तकनीक के जरिए यूजर बिना सिम कार्ड के भी कॉलिंग और टेक्स्ट मैसेजिंग सर्विस का इस्तेमाल कर सकेंगे। यह स्टारलिंक सैटेलाइट इंटरनेट सर्विस प्रोवाइडर्स से बिल्कुल अलग है और लोअर ऑर्बिट के जरिए यूजर को लो लेटेंसी के साथ इंटरनेट तक सुपर फास्ट एक्सेस प्रदान करता है। साथ ही यह यूजर को बेहतर कनेक्टिविटी भी प्रदान करता है।
क्या आप जानते हैं डायरेक्ट-टू-सेल तकनीक क्या है?
दरअसल, यह सैटेलाइट कम्युनिकेशन की एक एडवांस तकनीक है। इसके जरिए यूजर के स्मार्ट फोन सैटेलाइट के जरिए उनसे कनेक्ट होते हैं। इस तकनीक की खास बात यह है कि इसके लिए मोबाइल फोन में किसी खास सॉफ्टवेयर या हार्डवेयर की जरूरत नहीं होती है। वहीं, फोन को किसी रिसेप्टर या टेरेस्ट्रियल डिवाइस की जरूरत नहीं होती। यूजर अपने फोन को सीधे सैटेलाइट से कनेक्ट कर सकेंगे। फिलहाल यह तकनीक टेस्ट मैसेज और कॉल स्वीकार करती है। जल्द ही इंटरनेट सेवा का लाभ भी अपने आप मिलने लगेगा।
डायरेक्ट-टू-सेल तकनीक की बदौलत यह बदलाव आएगा
डायरेक्ट-टू-सेल तकनीक के आने से लाखों मोबाइल फोन को सैटेलाइट से कनेक्ट करने में मदद मिलेगी। इससे लॉजिस्टिक्स, कृषि और रिमोट मॉनिटरिंग में काफी मदद मिलेगी। यूजर आम स्मार्ट फोन के जरिए सैटेलाइट इंटरनेट से जुड़ सकेंगे। वहीं, इमरजेंसी की स्थिति में रेड रहित इलाकों से भी जुड़ सकेंगे।
टेलीकम्युनिकेशन ऑपरेटर्स के साथ मिलकर काम करेंगे मस्क
इसके लिए एलन मस्क की स्टारलिंक ने कई देशों में टेलीकम्युनिकेशन ऑपरेटर्स के साथ साझेदारी की है। आने वाले महीनों में यूजर इंटरनेट डायरेक्ट सेल्स सर्विस का लाभ उठा सकेंगे। इसके जरिए यूजर्स को 250 से 350 एमबीपीएस की स्पीड से इंटरनेट की सुविधा भी मिलेगी।
एलन मस्क की स्टारलिंक इंटरनेट सर्विस जल्द ही भारत में लॉन्च होने वाली है। इससे पहले एलन मस्क ने एक नई तरह की डायरेक्ट सेलिंग तकनीक पेश की थी। इस तकनीक के जरिए यूजर का मोबाइल सीधे सैटेलाइट से कनेक्ट रहेगा। इसके लिए यूजर को किसी खास हार्डवेयर या सॉफ्टवेयर की जरूरत नहीं होगी।
इस तकनीक के जरिए यूजर बिना सिम कार्ड के भी कॉलिंग और टेक्स्ट मैसेजिंग सर्विस का इस्तेमाल कर सकेंगे। यह स्टारलिंक सैटेलाइट इंटरनेट सर्विस प्रोवाइडर्स से बिल्कुल अलग है और लोअर ऑर्बिट के जरिए यूजर को लो लेटेंसी के साथ इंटरनेट तक सुपर फास्ट एक्सेस प्रदान करता है। साथ ही यह यूजर को बेहतर कनेक्टिविटी भी प्रदान करता है।
क्या आप जानते हैं डायरेक्ट-टू-सेल तकनीक क्या है?
दरअसल, यह सैटेलाइट कम्युनिकेशन की एक एडवांस तकनीक है। इसके जरिए यूजर के स्मार्ट फोन सैटेलाइट के जरिए उनसे कनेक्ट होते हैं। इस तकनीक की खास बात यह है कि इसके लिए मोबाइल फोन में किसी खास सॉफ्टवेयर या हार्डवेयर की जरूरत नहीं होती है। वहीं, फोन को किसी रिसेप्टर या टेरेस्ट्रियल डिवाइस की जरूरत नहीं होती। यूजर अपने फोन को सीधे सैटेलाइट से कनेक्ट कर सकेंगे। फिलहाल यह तकनीक टेस्ट मैसेज और कॉल स्वीकार करती है। जल्द ही इंटरनेट सेवा का लाभ भी अपने आप मिलने लगेगा।
डायरेक्ट-टू-सेल तकनीक की बदौलत यह बदलाव आएगा
डायरेक्ट-टू-सेल तकनीक के आने से लाखों मोबाइल फोन को सैटेलाइट से कनेक्ट करने में मदद मिलेगी। इससे लॉजिस्टिक्स, कृषि और रिमोट मॉनिटरिंग में काफी मदद मिलेगी। यूजर आम स्मार्ट फोन के जरिए सैटेलाइट इंटरनेट से जुड़ सकेंगे। वहीं, इमरजेंसी की स्थिति में रेड रहित इलाकों से भी जुड़ सकेंगे।
टेलीकम्युनिकेशन ऑपरेटर्स के साथ मिलकर काम करेंगे मस्क
इसके लिए एलन मस्क की स्टारलिंक ने कई देशों में टेलीकम्युनिकेशन ऑपरेटर्स के साथ साझेदारी की है। आने वाले महीनों में यूजर इंटरनेट डायरेक्ट सेल्स सर्विस का लाभ उठा सकेंगे। इसके जरिए यूजर्स को 250 से 350 एमबीपीएस की स्पीड से इंटरनेट की सुविधा भी मिलेगी।
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